पटना | बिहार में गया जिले के बोधगया स्थित महाबोधि मंदिर परिसर में रविवार सुबह आठ सिलेसिलेवार विस्फोट हुए, जिसमें दो बौद्ध भिक्षु घायल हो गए। घटना के बाद से मंदिर परिसर को खाली करा लिया गया है। बम निरोधक दस्ते ने दो जिन्दा बम बरामद किए हैं। महाबोधि मंदिर परिसर में पहला विस्फोट सुबह 5.15 बजे हुआ। इसके बाद कई अन्य विस्फोट हुए, जिससे लोगों में खौफ पैदा हो गया। करीब आधे घंटे तक विस्फोट होता रहा।

अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक एस. के. भारद्वाज ने बताया, “रविवार सुबह आठ बम विस्फोट हुए, जिनमें से दो मंदिर परिसर में स्थित बोधि वृद्धि के पास हुए।” बम निरोधक दस्ते ने दो जिंदा बम भी बरामद किए, जिनमें से एक भगवान बुद्ध की 80 फीट ऊंची प्रतिमा के करीब और दूसरा करमापा मंदिर के पास मिला। बाद में विशेषज्ञों ने इन्हें निष्क्रिय कर दिया। उन्होंने बताया कि विस्फोटों दो बौद्ध भिक्षु घायल हो गए, जिनमें से एक तिब्बत के और एक म्यांमार के हैं। भारद्वाज ने कहा, “घायल तिब्बती बौद्ध भिक्षु की पहचान 50 वर्षीय तेंजिंग दोरजी और म्यांमार के बौद्ध भिक्षु की पहचान 30 वर्षीय विलास गा के रूप में की गई है।” विस्फोट से मंदिर या बोधि वृक्ष को कोई नुकसान नहीं हुआ है। गया जिले के एक पुलिस अधिकारी एन. एच. खान ने फोन पर आईएएनएस से कहा, “मंदिर जाने का रास्ता तथा विभिन्न देशों के मठों को पूरी तरह बंद कर दिया गया है और सुरक्षा बलों की तैनाती की गई है।” घटना के बाद बिहार सरकार ने बोधगया तथा राज्य क अन्य संवेदनशील स्थानों पर सतर्कता जारी कर दी है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार वरिष्ठ अधिकारियों के साथ हालात का जायजा लेने के लिए बोधगया पहुंचे। वरिष्ठ पुलिस अधिकारी रविंदर कुमार ने कहा, “सिलसिलेवार बम विस्फोटों के बाद पुलिस सतर्क है। महाबोधि मंदिर में अतिरिक्त सुरक्षा बलों की तैनाती की गई है। पुलिस ने इस मामले में जांच शुरू कर दी है।” महाबोधि मंदिर का निर्माण बोधगया में उस स्थान पर किया गया है, जहां भगवान को करीब 2,500 साल पहले ज्ञान प्राप्त हुआ है। यूनेस्को ने वर्ष 2002 में इसे विश्व धरोहर घोषित किया था।

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