एक साथ छह बैंकों को मिला लेना आसान नहीं होता। भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआइ) ने पांच सहयोगियों और भारतीय महिला बैंक के विलय के बाद पहली बार जारी वित्तीय नतीजे में यह साफ नजर आ रहा है। एसबीआइ के लिए यह सौदा सिर्फ मुनाफा नहीं दे रहा है। चालू वित्त वर्ष की अप्रैल-जून तिमाही में देश के इस दिग्गज बैंक का शुद्ध लाभ पांच गुना बढ़ा है, मगर कमाई पर भारी दबाव बन गया है। बैंक की ब्याज व गैर ब्याज आय में कमी हुई है। फंसे कर्जे (एनपीए) की समस्या काफी बढ़ गई है। आने वाले दिनों में हालात सुधरने के आसार कम हैं।
मौजूदा वित्त वर्ष 2017-18 की पहली तिमाही में भारतीय स्टेट बैंक का शुद्ध लाभ 2,006 करोड़ रुपये रहा है। अप्रैल से जून, 2016 की समान अवधि में यह राशि 374 करोड़ रुपये थी। ध्यान रहे कि एक वर्ष पहले की राशि सिर्फ एसबीआइ की थी, जबकि इस बार इसमें छह अन्य बैंकों का मुनाफा भी शामिल है। लेकिन यह बैंक की बैलेंस शीट का सही आकलन नहीं होगा, क्योंकि इस दौरान ऑपरेटिंग प्रॉफिट में 13.7, ब्याज आय में 3.51 और गैर ब्याज आमदनी में 8.62 फीसद की कमी हुई है। एनपीए की स्थिति भी खराब हुई है। मार्च, 2017 में एनपीए का शुद्ध स्तर 4.36 फीसद था। यह जून, 2017 में बढ़कर 5.97 फीसद हो गया। नेट इंटरेस्ट मार्जिन भी 0.54 फीसद घटा है और यह 2.5 के स्तर पर आ गया है।
एसबीआई के आंकड़ों से संकेत मिलता है कि आने वाले दिनों मे भी उसकी वित्तीय स्थिति ज्यादा उत्साहजनक नहीं रहेगी। वैसे, एसबीआइ की चेयरपर्सन अरुंधति भट्टाचार्य ने कहा है कि विलय के बाद सभी बैंकों के बीच बेहतरीन केमिस्ट्री बनने लगी है, लेकिन आंकड़े कुछ और बात कहते हैं। पिछली तिमाही में 26,249 करोड़ रुपये के नए एनपीए बने हैं। यही वजह है कि बाजार ने एसबीआइ चेयरमैन की बातों पर भरोसा नहीं कर सका और एसबीआइ के शेयरों की कीमतों में 5.36 फीसद तक की गिरावट दर्ज की गई है। शेयर बाजार में शुक्रवार को दर्ज भारी गिरावट के लिए भी एसबीआइ के बुरे प्रदर्शन को एक वजह माना जा रहा है।
इलाहाबाद बैंक को लाभ: सार्वजनिक क्षेत्र के इलाहाबाद बैंक ने 30 जून को समाप्त तिमाही में 28.84 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ कमाया है। बीते वित्त वर्ष की समान तिमाही में 564.96 करोड़ रुपये का घाटा उठाया है।
सन फार्मा को 425 करोड़ का घाटा: दवा कंपनी सन फार्मास्यूटिकल ने समीक्षाधीन तिमाही में 424.92 करोड़ का कंसॉलिडेटेड शुद्ध घाटा दिखाया है। बीते वित्त वर्ष की समान अवधि में कंपनी को 2,033.71 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ हुआ था। जून में समाप्त तिमाही में सन फार्मा का कुल रेवेन्यू भी घटकर 6,208.79 करोड़ रह गया।