ग्वालियर। ग्वालियर में लोकायुक्त ने आज सुबह कार्रवाई करते हुए नगर निगम के सफाई दरोगा को 5 हजार रुपये की रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। सफाई दरोगा एक कर्मचारी से उसका वेतन निकालने के लिए रिश्वत की डिमांड कर रहा था। इस बात की जानकारी जब लोकायुक्त को लगी तो उन्होंने रिश्वत लेने वाले दरोगा को रंगेहाथों गिरफ्तार करने की तैयारी शुरू कर दी। उसके बाद जब फरियादी रुपए लेकर दरोगा के पास पहुंचा तो उसे मौके पर ही गिरफ्तार कर लिया।
जानकारी के मुताबिक लोकायुक्त पुलिस के पास आवेदक नगर निगम कर्मचारी लक्ष्मण खरे ने शिकायत की थी कि नगर निगम का चीफ सेनेटरी इंस्पेक्टर (सफाई दरोगा) अशोक धवल उनका वेतन निकालने में परेशान कर रहा है और रिश्वत मांग रहा है। आवेदक के मुताबिक उसके करीब 60 हजार रुपये फंसे हुए है जिसको निकालने के लिए अशोक धवल 10 प्रतिशत रिश्वत मांग रहा है लेकिन सौदा 5 हजार रुपये में तय हुआ।
लोकायुक्त की गिरफ्त में आने के बाद यह भी जानकारी हाथ लगी है कि अशोक धवल वेतन के लिए ही नहीं बल्कि सफाई कर्मचारियों की हाजिरी लगाने के लिए भी एक से दो हजार रुपए की रिश्वत की डिमांड करता था।
शिकायत के बाद लोकायुक्त ने लक्ष्मण खरे को समझाइश देकर भेजा। आज सुबह लक्ष्मण खरे ने अशोक धवल को पड़ाव स्थित डफरिन सराय नगर निगम स्टाफ क्वार्टर के पास बुलाया और रिश्वत के 5 हजार रुपये दिये, वहां पहले से मौजूद लोकायुक्त टीम ने उसे रंगे हाथ पकड़ लिया।
नगर निगम के चीफ सेनेटरी इंस्पेक्टर को ट्रेप करने के बाद लोकायुक्त टीम उसे अपने ऑफिस ले गई। जहां उससे पूछताछ जारी है। डीएसपी प्रद्युम्न पाराशर के नेतृत्व में अशोक धवल को ट्रेप करने की कार्रवाई करने वाली टीम में इंस्पेक्टर आराधना डेविस, इंस्पेक्टर राघवेंद्र तोमर, ब्रजमोहन नरवरिया सहित लोकायुक्त पुलिस ग्वालियर का अन्य स्टाफ शामिल था।