भोपाल ।छात्र-छात्राएँ हमारे देश का भविष्य हैं। उनमें देश में व्याप्त परिस्थितयों और चुनौतियों का सामना करते हुए उसे विकसित देश में बदलने की शक्ति और क्षमता है। यह अफसोस की बात है कि देश को आजाद हुए सात दशक हो गये हैं, परन्तु हमारा देश अभी तक विकासशील देशों में ही स्थान प्राप्त कर सका है। राज्यपाल ओम प्रकाश कोहली ने यह बात आज यहाँ बरकतउल्ला विश्वविद्यालय के दीक्षांत समारोह में कही। इस अवसर पर पूर्व केन्द्रीय मंत्री डॉ. मुरली मनोहर जोशी, राज्यपाल के प्रमुख सचिव डॉ. एम मोहन राव और विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. एम.डी तिवारी उपस्थित थे। राज्यपाल श्री कोहली ने पूर्व केन्द्रीय मंत्री डॉ. मुरली मनोहर जोशी को डीएससी की उपाधि सहित मेधावी छात्र-छात्राओं को पीएचडी और स्नातक एवं स्नात्कोत्तर की उपाधियाँ प्रदान की।
राज्यपाल कोहली ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ‘मेक इन इंडिया” अभियान के तहत देश को विकसित देशों में शामिल करने के लिए कई योजनाएँ आरंभ की हैं। विश्वविद्यालयों और छात्र-छात्राओं को इन योजनाओं को सफल बनाने तथा इसका लाभ जन-जन तक पहुँचाने के लिए अपनी सक्रिय भागीदारी निभाना चाहिए। तभी हमारा देश विकसित राष्ट्र बन सकेगा।
राज्यपाल कोहली ने कहा कि विश्वविद्यालयों को उच्च शिक्षा की गुणवत्ता पर ध्यान देना चाहिए ताकि हमारे प्रदेश के विश्वविद्यालय विश्व-स्तर के विश्वविद्यालयों की सूची में अपना स्थान प्राप्त कर सकें। श्री कोहली ने कहा कि शिक्षा के क्षेत्र में अनुभव किये जा रहे बदलाव को हमें समझना होगा। आज हम वैश्वीकरण के युग में जी रहे हैं, जहाँ बहुत अधिक प्रतिस्पर्धा है। अत: वैश्विक स्तर पर यदि हमें अपनी पहचान सुनिश्चित करनी है, तो इन प्रतिस्पर्धाओं के अनुरूप हमारे युवाओं को नवाचार एवं सृजनशीलता विकसित करनी होगी।
पूर्व केन्द्रीय मंत्री डॉ. मुरली मनोहर जोशी ने कहा कि किसी भी देश की प्रगति उस देश की सभ्यता और संस्कृति पर निर्भर रहती है। आज का परिदृश्य बहुत भिन्न है। विश्व के छोटे-छोटे देश विकास के पथ पर तेजी से अग्रसर हैं। जो देश हमारे साथ आजाद हुए थे वह हम से विकास में बहुत आगे बढ़ गये हैं। हमारे लिए यह चिंता और सोच-विचार करने का विषय है। उन्होंने छात्र-छात्राओं से कहा कि आप सभी मिल-जुलकर इस प्रकार के प्रयास करें कि देश को फिर से विश्य गुरू का स्थान प्राप्त हो सके।
कुलपति प्रो. एम.डी. तिवारी ने अतिथियों का स्वागत किया। उन्होंने विश्वविद्यालय की गतिविधियों पर भी प्रकाश डाला। संचालन कुलसचिव प्रो. यू.एन. शुक्ला ने किया। राज्यपाल ने विश्वविद्यालय की स्मारिका का विमोचन भी किया। समारोह में बड़ी संख्या में छात्र-छात्राएँ, शिक्षक, अभिभावक और गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।